जन्मदिवस के उपलक्ष्य में गुजरात के जामनगर में वाटर वूमेन शिप्रा ने किया पंचतत्व पौधशाला का शुभारम्भ
बदायूं की बेटी ने किया गुजरात में बदायूं का नाम रोशन।5 एकड़ में बनने वाली पौधशाला से पूरे गुजरात में निःशुल्क वितरित होंगे पौधे।
रिपोर्टर प्रदीप पाण्डेय बदायूं

जामनगर जिले में पंचतत्व संस्था से जुड़े कई स्वयं सेवी संगठनअपने पर्यावरण संरक्षण कार्य के लिए बदायूं का नाम पूरे भारत में रोशन करने वाली वाटर वूमेन शिप्रा पाठक ने अपने जन्मदिवस के उपलक्ष्य में आज जामनगर के लालपुर में पंचतत्व पौधशाला का शुभारंभ कर यहां से हर वर्ष 50000 से 100000 तक पौधे वितरित करने की घोषणा की है।

अब तक देश के कई राज्यों में अपनी पंचतत्व संस्था का वृहद विस्तार करने वाली शिप्रा ने अब गुजरात में भी पर्यावरण के लिए कार्य करने का संकल्प लिया है।अभी कुछ महीने पहले बदायूं जिले के ग्राम सराय में भी कई एकड़ में शिप्रा ने पंचतत्व पौधशाल का शुभारंभ किया था जहां तालाब की खुदाई के दौरान चतुर्मुख शिवलिंग प्रकट हुए थे।आपको बताते चलें शिप्रा पाठक अब तक नर्मदा,शिप्रा,गोमती आदि नदियों के साथ कैलाश मानसरोवर,ब्रज चौरासी कोस,अयोध्या से रामेश्वरम तक लगभग 13000 किमी की पर्यावरण पदयात्रा पूर्ण कर ली हैं।अपनी इन यात्राओं के माध्यम से शिप्रा ने अब तक 5100000 पौधों को वृक्ष के रूप में परिवर्तित कर लिया है।उत्तर प्रदेश,मध्य

प्रदेश,महाराष्ट्र,तमिलनाडु,छत्तीसगढ़,उत्तराखंड जैसे राज्यों में वृहद हरित पर्यावरण का कार्य कर रही शिप्रा ने अब गुजरात में भी जामनगर जिले के लालपुर से पर्यावरण के लिए कार्य करने का बीड़ा उठाया है।शिप्रा ने आज विभिन्न संगठनों के साथ पंचतत्व पौधशाला में यहां 101 पौधे रोपित कर लगभग 10000 पौधे हेतु क्षेत्रवासियों के साथ मिलकर बीज रोपित किए।इस दौरान शिप्रा ने कहा कि लोगों को वृक्ष और नदियों के महत्त्व को समझना होगा।

अपने जन्मदिवस के उपलक्ष्य में आयोजित शुभारंभ में उन्होंने कहा कि जो लोग पौधे को अपना परिवारीजन समझ कर पालकर वृक्ष बना सकते है वही लोग पौधा रोपित करें।उन्होंने कहा हर हिन्दू सनातनी को अपने जीवन में कम से कम 5 बड़े वृक्ष तैयार करने चाहिए जिससे उसकी आने वाली पीढ़ी शुद्ध पर्यावरण में अपना जीवन यापन कर सके।

उन्होंने कहा कि सरकार भी पर्यावरण के लिए सराहनीय प्रयास कर रही है इसका मतलब यह नहीं कि हम लोग शासन प्रशासन के सहारे बैठ जाएं,हम सबको भी अपने अपने हिस्से के प्रयास करना चाहिए।उन्होंने कहा छोटे छोटे समूह मिलकर ही बड़ा इतिहास बनाते है।उन्होंने कहा आज हम सभी गुजरात की पवन धरती से यह शपथ लेते है कि अपने जीवन में 5 बड़े वृक्ष तैयार करेंगे।इस दौरान उदासीन अखाड़ा के महामंडलेश्वर 1008 महेश मुनि बापू ने पंचतत्व संस्था को निःशुल्क पौधा वितरण के लिए आश्रम की भूमि देने की घोषणा करते हुए कहा कि हम सभी शिप्रा की पंचतत्व संस्था को पर्यावरण हित में हरसंभव सहयोग करेंगे।अगले वर्ष से निःशुल्क पौधे लेने के लिए लोग संपर्क कर सकते हैं।इस दौरान कई संगठन प्रमुख उपस्थित रहे।